जांच अधिकारियों ने अल्मोड़ा के प्रसिद्ध कसारदेवी क्षेत्र में पहुंचकर कई लोगों से लंबी पूछताछ की। बताया जा रहा है कि यौन शोषण का आरोपी बाबा चैतन्यानंद गिरफ्तारी से पहले इस क्षेत्र में रुका था।
तीन युवतियों और रिसॉर्ट स्वामियों से सवाल-जवाब
पुलिस सूत्रों के अनुसार, दिल्ली पुलिस की टीम ने उन ठिकानों का पता लगाया, जहां चैतन्यानंद ने शरण ली थी। पूछताछ के दौरान:
- तीन स्थानीय युवतियां: पुलिस ने कसारदेवी क्षेत्र से जुड़ी तीन युवतियों से पूछताछ की है। यह जांच की जा रही है कि इन युवतियों से चैतन्यानंद का किस तरह का संबंध था और क्या ये उसके ‘आश्रम नेटवर्क’ का हिस्सा थीं।
- रिसॉर्ट/गेस्ट हाउस स्वामी: पुलिस ने उस रिसॉर्ट या गेस्ट हाउस के स्वामियों और कर्मचारियों से भी जानकारी जुटाई है, जहां आरोपी बाबा ठहरा था। यह पता लगाने की कोशिश की जा रही है कि उसके साथ कोई छात्रा या अन्य सहयोगी मौजूद था या नहीं।
हालांकि, दिल्ली पुलिस के अधिकारी इस मामले पर आधिकारिक तौर पर कुछ भी कहने से बच रहे हैं, लेकिन इस पूछताछ से यह स्पष्ट हो गया है कि आरोपी बाबा की गतिविधियों का दायरा सिर्फ दिल्ली तक ही सीमित नहीं था, बल्कि वह उत्तराखंड जैसे शांत स्थानों का भी इस्तेमाल करता था।
क्या है पूरा मामला?
दिल्ली के श्री शारदा इंस्टीट्यूट ऑफ इंडियन मैनेजमेंट एंड रिसर्च (SRISIIM) के पूर्व प्रमुख स्वामी चैतन्यानंद पर संस्थान की 17 से अधिक छात्राओं ने यौन उत्पीड़न, छेड़छाड़, अश्लील मैसेज भेजने और आपत्तिजनक हरकतें करने का आरोप लगाया है। दिल्ली पुलिस ने इस मामले में चैतन्यानंद को आगरा से गिरफ्तार किया था और फिलहाल वह न्यायिक हिरासत में है। इस मामले में बाबा की तीन महिला सहयोगियों (जो संस्थान में डीन और डायरेक्टर के पद पर थीं) को भी गिरफ्तार किया जा चुका है, जिन पर छात्राओं को धमकाने और सबूत नष्ट करने का आरोप है।